
Garam Crop Seed Subsidy: बिहार सरकार ने किसानों के लिए एक बड़ी राहत भरी योजना शुरू की है, जिसके तहत किसानों को गरमा फसलों के बीज पर 80 फीसदी तक की सब्सिडी प्रदान की जा रही है। इस योजना के तहत किसानों को मूंग, उड़द, मूंगफली, तिल, सूर्यमुखी, हाइब्रिड मक्का, स्वीट कॉर्न और बेबी कॉर्न जैसी प्रमुख गरमा फसलों के बीज बेहद कम कीमत पर उपलब्ध कराए जाएंगे। इस सुविधा का लाभ उठाने के लिए किसानों को बिहार सरकार के कृषि विभाग की वेबसाइट पर जाकर ऑनलाइन आवेदन करना होगा।
बिहार सरकार की पहल: सब्सिडी पर बीज और होम डिलीवरी की सुविधा
बिहार सरकार ने गरमा फसल (Summer Crop) की खेती को बढ़ावा देने के लिए किसानों को उच्च गुणवत्ता वाले बीज बहुत ही कम कीमत पर उपलब्ध कराने का निर्णय लिया है। इसके लिए बिहार राज्य बीज निगम के माध्यम से बीजों की आपूर्ति की जा रही है। इस योजना में सबसे बड़ी बात यह है कि किसान ऑनलाइन आवेदन करते समय अगर चाहें तो बीज की होम डिलीवरी भी प्राप्त कर सकते हैं। हालांकि होम डिलीवरी के लिए अतिरिक्त चार्ज लिया जाएगा।
इन फसलों पर मिल रही है सब्सिडी
किसान जिन फसलों के बीज पर सब्सिडी प्राप्त कर सकते हैं, उनमें शामिल हैं: मूंग, उड़द, मूंगफली, तिल, सूर्यमुखी, स्वीट कॉर्न, बेबी कॉर्न और हाइब्रिड मक्का। इन फसलों पर सरकार की ओर से 50% से लेकर 80% तक की बीज सब्सिडी दी जा रही है।
उदाहरण के लिए:
- स्वीट कॉर्न का बीज जिसकी कीमत ₹2712 से ₹3000 प्रति किलो है, उस पर 50% या अधिकतम ₹1500 प्रति किलो की दर से बीज दिया जा रहा है।
- बेबी कॉर्न पर भी 50% या ₹500 प्रति किलो की दर से बीज सब्सिडी उपलब्ध है।
- मूंग, जिसकी कीमत ₹149 प्रति किलो है, उस पर 80% सब्सिडी दी जा रही है, यानी किसानों को यह बीज केवल ₹117.20 प्रति किलो में मिलेगा।
- उड़द ₹175 प्रति किलो की कीमत पर उपलब्ध है, जिसमें 80% सब्सिडी के बाद किसानों को ₹144 प्रति किलो चुकाने होंगे।
- मूंगफली के बीज की कीमत ₹114 है, जिसमें सब्सिडी के बाद किसानों को ₹103.60 प्रति किलो देना होगा।
- तिल की कीमत ₹240 प्रति किलो है, जिसमें 80% सब्सिडी के तहत बीज ₹204 प्रति किलो में मिलेगा।
- सूर्यमुखी के बीज पर भी 80% सब्सिडी है, जिससे यह ₹519.52 प्रति किलो की रियायती दर पर किसानों को मिलेगा।
आवेदन की प्रक्रिया: किसान कैसे करें Apply
इस योजना का लाभ लेने के लिए किसानों को ऑनलाइन आवेदन करना अनिवार्य है। किसान बिहार कृषि विभाग के डीबीटी पोर्टल (https://dbtagriculture.bihar.gov.in) या बिहार राज्य बीज निगम के पोर्टल (https://brbn.bihar.gov.in) पर जाकर आवेदन कर सकते हैं। इसके लिए किसान अपने एंड्रॉइड मोबाइल, कंप्यूटर, कॉमन सर्विस सेंटर, वसुधा केंद्र, या साइबर कैफे की मदद ले सकते हैं।
सब्सिडी के लिए कैसे मिलेगा बीज
आवेदन करने के बाद कृषि विभाग द्वारा किसानों का वेरिफिकेशन किया जाएगा। वेरिफिकेशन पूरा होने के बाद किसान के मोबाइल नंबर पर एक मैसेज भेजा जाएगा, जिसमें एक डिमांड नंबर होगा। इस डिमांड नंबर को किसान को बीज विक्रेता को देना होगा। इसके बाद बायोमेट्रिक वेरिफिकेशन के बाद किसान को बीज दिया जाएगा और बीज की कुल कीमत में से सब्सिडी घटाकर शेष राशि ही किसान से ली जाएगी।
उपयुक्त मिट्टी और फसल चक्र
विशेषज्ञों का मानना है कि मूंगफली की खेती के लिए दोमट बलुई, बलुई दोमट या हल्की दोमट मिट्टी उपयुक्त होती है। इसके अलावा, गरमा मूंगफली की खेती को आलू, मटर, सब्जी मटर तथा राई की कटाई के बाद खाली खेतों में सफलता से किया जा सकता है। यह फसल कम समय में तैयार हो जाती है और अच्छे मुनाफे की संभावना रखती है।
किसानों के लिए यह एक सुनहरा मौका
बिहार सरकार की यह योजना किसानों के लिए एक बड़ा अवसर है। कम लागत में उच्च गुणवत्ता वाले बीज प्राप्त कर किसान अपनी उत्पादन क्षमता को बढ़ा सकते हैं। इसके अलावा, बीज की होम डिलीवरी और ऑनलाइन आवेदन की सुविधा ने प्रक्रिया को अत्यंत सरल और सुलभ बना दिया है। ऐसे में अगर किसान समय रहते इस योजना का लाभ उठाएं, तो वे इस गरमा सीजन में अच्छी आय अर्जित कर सकते हैं।